AURANGABAD: सदर अस्पताल में करोड़ो की इमारत निर्माणाधीन ,परन्तु पानी के लिए मरीजो में मचा हाहाकार

FRIENDS MEDIA BIHAR DESK


मॉडल अस्पताल का दर्जा प्राप्त कर चुके औरंगाबाद सदर अस्पताल का हाल बदहाल है। यहां मरीजों को न तो सभी प्रकार के दवा मिल रही है न पीने के लिए पानी। मरीज पानी के लिए भटक रहे हैं। अस्पताल परिसर में एक भी चापाकल नहीं है। सबसे बुरा हाल नल का है। नल से पानी नहीं टपक रहा है। अस्पताल परिसर में तीन आरओ प्लांट लगाया गया है, परंतु एक भी कारगर साबित नहीं है। दो आरओ से पानी नहीं टपक रहा है, एवं एक से शुद्ध पेयजल नहीं मिल रहा है। बता दें कि सदर अस्पताल में मरीजों को इलाज के बदले बीमार किया जाता है। आरओ प्लांट से खरा पानी निकलता है, जो पीने लायक नहीं होता है। मजबूरन मरीजों को पीना पड़ता है।

सरकारी अस्पतालों में अधिकतर गरीब मरीज ही इलाज कराने पहुंचते हैं। उनके पास इलाज के लिए भी पैसा नहीं होता तो वे पानी कहां से खरीद सकेंगे। कुछ सक्षम मरीज बाहर बाजार से बोतल का पानी खरीदकर प्यास बुझा रहे हैं। पानी के लिए मरीजों को इधर-उधर भटकना पड़ता है। बताते चलें कि यहां के अधिकारियों को शुद्ध पेयजल तो मिलता है परंतु मरीज को नहीं। मरीजों की क्या हालत है इससे अधिकारियों को कोई लेना देना नहीं है। यहां तक की सिविल सर्जन भी इस ओर ध्यान नहीं देते हैं। अगर वरीय अधिकारी पहल करें कनीय खुद कार्य करेंगे।