औरंगाबाद । व्यवहार न्यायालय में एडीजे सह स्पेशल पोक्सो कोर्ट के जज लक्ष्मीकांत मिश्रा ने नाबालिग से दुष्कर्म के मामले में अभियुक्त टूटू कुमार उकुरहमी ओबरा को बीस साल की सज़ा सुनाई। यह सज़ा जीआर-10/20, महिला थाना कांड संख्या-04/20 के मामले में सुनाई गई है। स्पेशल पीपी शिवलाल मेहता ने बताया कि अभियुक्त को भारतीय दंड संहिता की धारा 376(III) और पोक्सो एक्ट की धारा 04(II) के तहत दोषी पाया गया।
अदालत ने अभियुक्त पर 20,000 रुपये का जुर्माना भी लगाया है, जो पीड़िता को दिया जाएगा। इसके साथ ही अदालत ने यह भी आदेश दिया है कि पीड़िता को जिला विधिक सेवा प्राधिकार, औरंगाबाद के माध्यम से 2 लाख रुपये का प्रतिकर दिलाया जाए।
अधिवक्ता सतीश कुमार स्नेही ने बताया कि अभियुक्त को 15 जून, 2024 को दोषी करार देते हुए बंधपत्र विखंडित कर जेल भेज दिया गया था। मामले की प्राथमिकी पीड़िता की मां ने दर्ज कराई थी। प्राथमिकी के अनुसार, 12 फरवरी, 2020 को जब पीड़िता की मां घर पर नहीं थी, तब शाम के समय पीड़िता शौच के लिए बाहर गई थी। उसी दौरान अभियुक्त ने उसे पकड़कर सरसों के खेत में ले जाकर मुंह बांध कर दुष्कर्म किया था।
इस मामले में अदालत का निर्णय न्याय की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है और यह समाज में महिलाओं और नाबालिगों के प्रति होने वाले अपराधों के खिलाफ एक कड़ा संदेश देता है। अभियोजन पक्ष की मेहनत और पीड़िता की साहसिकता के कारण यह सजा संभव हो पाई है।