AURANGABAD : अवैध राशि उगाही मामले में राजस्व कर्मचारी बर्खास्त , पूर्व में किये गए थे निलंबित

FRIENDS MEDIA DESK-AURANGABAD

जिले कुटुंबा प्रखंड अंतर्गत मटपा के राजस्व कर्मचारी(निलंबित) बिरेन्द्र कुमार के विरूद्ध अवैध राशि उगाही करने एवं भ्रष्टाचार में लिप्त रहने के संबंध में जिला प्रशासन को सूचना प्राप्त हुई थी। साथ ही, ऐसी सूचना भी प्राप्त हुई थी कि इनके द्वारा दाखिल- खारिज के एवज में आमजनों से अवैध पैसे की मांग की जाती है। द्वारा दाखिल-खारिज किये जाने के लिए आमजनों से खुलेआम अवैध रिश्वत की माँग किए जाने से संबंधित एक ऑडियो रिकार्डिंग भी जिला प्रशासन को प्राप्त हुई थी।

उक्त ऑडियो क्लीप में बिरेन्द्र कुमार द्वारा ग्राम-सिमरी कला निवासी अनिल कुमार मेहता से दाखिल-खारिज वाद संख्या-1120/2021-2022 एवं वाद संख्या- 601/2021-2022 में जमीन का दाखिल खारिज किये जाने के एवज में अवैध राशि की स्पष्ट मांग की जा रही थी। बिहार सरकारी सेवक (वर्गीकरण, नियंत्रण एवं अपील) नियमावली-2005 का नियम-9(2) के आलोक में बिरेन्द्र कुमार को अवैध रूप से राशि की मांग किये जाने का दोषी पाते हुए उन्हें तत्काल प्रभाव से निलम्बित कर दिया गया था।

उक्त मामले की जांच वरीय उप समाहर्ता सह प्रभारी पदाधिकारी जिला राजस्व शाखा अनिशा भारती द्वारा किया गया एवं उक्त मामले में मंतव्य सहित जांच प्रतिवेदन उपलब्ध कराया गया। जिसमें प्रतिवेदित किया गया कि राजस्व कर्मचारी के द्वारा अनिल कुमार मेहता से मोबाइल पर ₹2000 की मांग की गई थी। साथ ही वीरेंद्र कुमार, निलंबित राजस्व कर्मचारी द्वारा विभागीय प्रावधान के अनुसार 7 दिनों के अंदर संबंधित वाद को अंचल निरीक्षक के लॉगिन पर हस्तांतरित नहीं किया गया एवं यह दाखिल खारिज वाद राजस्व कर्मचारी के लॉगिन में ही प्रदर्शित हो रहा था जिससे यह प्रमाणित होता है कि वीरेंद्र कुमार, निलंबित राजस्व कर्मचारी दाखिल खारिज वाद के निष्पादन में जानबूझ कर विलंब किया गया एवं वे अवैध राशि की वसूली में संलिप्त रहते थे।

वरीय उप समाहर्ता सह संचालन पदाधिकारी अमित कुमार सिंह द्वारा अभिलेख का परिशीलन करने के उपरांत एवं वरीय उप समाहर्ता सह प्रभारी पदाधिकारी, जिला राजस्व शाखा के द्वारा उपलब्ध कराए गए जांच प्रतिवेदन के अवलोकन उपरांत यह स्पष्ट है कि बिरेन्द्र कुमार के द्वारा बातचीत के दौरान दाखिल खारिज करने हेतु अवैध पैसे की मांग की जा रही थी एवं उनके द्वारा दाखिल खारिज वाद संख्या 1120/ 2021-22 को राजस्व कर्मचारी के लॉगिन में लंबित रखा गया था। अतः इन पर लगाया गया अवैध राशि की वसूली से संबंधित आरोप प्रमाणित होता है।

संचालन पदाधिकारी से प्राप्त मंतव्य के आलोक में इन्हें बर्खास्तगी का दंड दिया गया है।साथ ही दर्ज प्राथमिकी के अनुसार अग्रेतर कार्रवाई करने का आदेश दिया गया है।