औरंगाबाद । जब समाज के रक्षक ही भक्षक बन जाएं, तो पीड़ितों को न्याय की उम्मीद कैसे हो? औरंगाबाद जिले से ऐसा ही एक चौंकाने वाला मामला सामने आया है, जहां एक अनुसंधानकर्ता ने पीड़ित से न्याय के बदले न केवल पैसे और सामग्री की मांग की, बल्कि शराबबंदी को ताक पर रखते हुए शराब की व्यवस्था करने की बात भी कह दी। इस पूरे मामले का ऑडियो अब तेजी से वायरल हो रहा है।
नगर थाना अंतर्गत गांधी नगर निवासी अनिल कुमार ने बताया कि उन्होंने बारुन थाना क्षेत्र के चेतु विगहा निवासी प्रमोद सिंह को बुरे वक्त में 2 लाख रुपये उधार दिए थे। बदले में प्रमोद ने अपने और अपनी पत्नी के नाम से चेक भी दिया था। लेकिन तय समय बीत जाने के बावजूद प्रमोद ने उधार वापस नहीं किया और हर बार टालमटोल करता रहा।
थक-हारकर अनिल ने पुलिस से न्याय की गुहार लगाई। इस पर नगर थाने में आरोपी के खिलाफ एफआईआर तो दर्ज कर ली गई, लेकिन कार्रवाई ठंडे बस्ते में डाल दी गई। इसके बाद अनुसंधानकर्ता प्रवीण कुमार ने पीड़ित से न्याय दिलाने के नाम पर पैसे की मांग शुरू कर दी। यही नहीं, अपनी गोलमोल बातों से पीड़ित को कार्रवाई का झांसा देते रहे।
शराब की मांग से हदें पार
वायरल ऑडियो 👇https://youtu.be/ZAzdFVClA5c?si=lpYRD3pHNbT18HTS
नोट:- इस ऑडियो क्लिप की पुष्टि FRIENDS MEDIA नही करती है।
मामला तब और गंभीर हो गया जब अनुसंधानकर्ता प्रवीण कुमार ने पीड़ित से शराब की व्यवस्था करने की बात कह दी। इसका एक ऑडियो क्लिप वायरल हो रहा है, जिसमें अनुसंधानकर्ता पीड़ित से शराब मांगते हुए साफ सुना जा सकता है। यह घटना न केवल कानून-व्यवस्था पर सवाल खड़े करती है, बल्कि पुलिस की कार्यशैली पर भी गंभीर आरोप लगाती है।
अनिल कुमार ने अंततः जिला एसपी को आवेदन देकर न्याय की गुहार लगाई है। उन्होंने अनुसंधानकर्ता की हरकतों की जांच की मांग की है। इस घटना ने जिले में हड़कंप मचा दिया है और लोग पुलिस विभाग की कार्यशैली पर सवाल उठा रहे हैं।
यह मामला औरंगाबाद में तेजी से तूल पकड़ रहा है। आम जनता पुलिस की इस रवैये पर नाराजगी जता रही है। लोगों का कहना है कि जब न्याय के लिए जिम्मेदार लोग ही इस तरह की हरकतें करेंगे, तो आम आदमी न्याय के लिए कहां जाएगा?
अब देखना यह है कि जिला प्रशासन और पुलिस विभाग इस मामले में क्या कार्रवाई करते हैं। क्या पीड़ित को न्याय मिलेगा या यह मामला भी अन्य मामलों की तरह दबा दिया जाएगा?